वसा अम्लों का ∝ ऑक्सीकरण क्या है , ∝ Oxidation of fatty acids in hindi alpha
fat
0Ashok NayakJanuary 03, 2023
वसा अम्लों का ∝ ऑक्सीकरण क्या है , ∝ Oxidation of fatty acids in hindi alpha fat
पढ़िए वसा अम्लों का ∝ ऑक्सीकरण क्या है , ∝ Oxidation of fatty acids in hindi alpha fat ?
वसा अम्लो का ∝ आक्सीकरण (∝ Oxidation of fatty acids)
स्टम्फ (Stumph) ने मूंगफली के बीजपत्रों में वसा अम्लों के ऑक्सीकरण की अन्य विधि की खोज की जिसे आक्सीकरण कहते हैं। ऑक्सीकरण सामान्यतः उच्चवर्गीय पादपों में पाया जाता है परन्तु जंतुओं में यह नहीं होता। इस विधि मे सामान्यतः दीर्घ श्रंखला युक्त वसा अम्लो (C 13 – C 18 ) का ऑक्सीकरण होता है। C2 से छोटी श्रंखला युक्त वसा अम्लों का निम्नीकरण (degradation) B आक्सीकरण द्वारा होता है। मज्लिएक ( Mazliak, 1973) के अनुसार x आक्सीकरण दो चरणों में होता है ।
(i) a आक्सीजन के लिए क्रियाधार वसा अम्ल होते हैं (3 आक्सीकरण के समान वसा एसाइल CoA. नहीं)। वसा अम्ल परॉक्सीडेज की उपस्थिति में वसा अम्लों का ऑक्सीकरणी विकार्बोक्सीलिकरण (Oxidative decarboxylation) हो जाता है एवं संबंधित एलडिहाइड एवं CO2 तथा जल बनते है ।
(ii) एलडिहाइड का आक्सीकरण विहाइड्रोजीनीकरण के द्वारा एन्जाइम एलडिहाइड डिहाइड्रोजिनेज (Aldehyde dehydrogenase) की उपस्थिति में होता है तथा NAD का अपचयन (reduction) होता है। इसके फलस्वरूप नया वसा अम्ल बनता है
है। सामान्यतः NADH से इलैक्ट्रान परिवहन तंत्र के माध्यम से 3ATP बनने चाहिये परन्तु ऐसा नहीं देखा गया है। ऐसा माना जाता है कि इस का उपयोग कार्बन की विषम श्रंखला युक्त (fatty acid with odd number of carbon atoms) वसा अम्लों का बनाने के लिए होता है दीर्घ श्रृंखला वाले एल्डिहाइड का उपयोग मोम के लिए होता है।
तालिका- 3: वसा अम्लों के B एवं ∝ ऑक्सीकरण में भिन्नताएं
कम B आक्सीकरण
a. आक्सीकरण
1. 5 चरणों में होता है एवं 5 एन्ज़ाइम आवश्यक होते हैं।
2 चरणों में होता है एवं 2 एन्जाइम आवश्यक होते है।
2. एन्जाइम माइटोकोन्ड्रिया में पाये जाते है।
3. क्रियाधार वसा के एसाइल CoA व्युत्पन्न होते हैं।
क्रियाधार – वसा अम्ल होते हैं।4. एक बार 2 कार्बन अणु एसिटाइल CoA के रूप में एक बार में निकलते है।
एक बार1 कार्बन अणु CO2 के रूप में निकलता है। 5. क्रिया प्रारंभ करने के लिए ATP की आवश्यकता होती है।क्रिया प्रारंभ करने के लिए ATP की आवश्यकता नहीं होती।6. सभी प्राणियों में पाया जाता है।सभी प्रणियों में नहीं देखा गया है।7. एक एसिटाइल समूह के साथ FADH2 एवं NADH2, बनते हैं जो बाद में ATP बनाते हैं।CO2 के अतिरिक्त एक NADH2 बनता है जिसका पूर्ण आक्सीकरण नहीं देखा गया है।
अम्लों का संचय (Storage of fatty acids)
वसा एवं तेल सामान्यतः ट्राइएसाइलग्लिसराइड (triacyl glycerides) के रूप में पाये जाते हैं, इसमें ‘एसाइल का तात्पर्य वसा अम्ल घटक से है। ये 12C से 20 C तक हो सकते है परन्तु 16C एवं 18C वसा अम्ल अधिक पाये जाते हैं। तेल सामान्य तापमान पर तरल होते हैं। विभिन्न पादपों के तेल/ वसा में वसा अम्लों की मात्रा अथवा अनुपात भिन्न हो सकते हैं ।
तालिका-4: कुछ पादप वसा/तेलों में वसा अम्लों की प्रतिशत मात्रा